चिकित्सीय योग तकनीक के व्यायाम
परिचय | Introduction
जिस प्रकार सारे दिन काम करने के बाद हमारा शरीर थक जाता है उसी प्रकार हमारी आँखें भी थक जाती है। कम्प्यूटर और मोबाइल के साथ ही हमारी नींद का तरीका और डाइट भी कुछ हद तक आँखों की समस्याओं के लिए जिम्मेदार होती है। आँखें हमारे शरीर का जरूरी अंग है फिर भी हम इनका ख्याल नहीं रख पाते हैं। जिस प्रकार शरीर को सुदृढ़ रखने के लिए एक्सरसाइज की जाती है ठीक वैसे ही आँखों की रोशनी बढ़ाने के लिए एक्सरसाइज की जाती है।
आँखों की एक्सरसाइज कई प्रकार की होती है, जैसे ताली बजाना, पलकें झपकाना, आँखों को ऊपर नीचे घुमाना, आदि। आँखों के लिए एक्सरसाइज करना आँखों की रोशनी बढ़ाने का सबसे अच्छा तरीका है। आज हम आपको इस आर्टिकल में बताएंगे कि आँखों के लिए एक्सरसाइज कौन-कौन सी है और आँखों की एक्सरसाइज कैसे कर सकते हैं।
नेत्र ज्याति बढ़ाने के इन उपायों से आप थकान और मानसिक समस्याओं से तो बचेंगे ही साथ ही आपको आँखों की रोशनी बढ़ाने में मदद मिलेगी। आँखों के लिए एक्सरसाइज करने से आँखों और सिर का दर्द दूर होगा, साथ ही आँखों से पानी आने और रोशनी का कम होने जैसी समस्याओं से भी निजात मिलेगी।
नेत्र ज्योति के कमजोर होने के साथ ही आँखों की कई बीमारियां हो सकती है जैसे मोतियाबिंद, ग्लुकोमा और अधिमंथ जो जीवाणुओं के संक्रमण से होती है। इसके अलावा कुछ रोग आँखों की मांसपेशियों के कमजोर होने की वजह से भी होते हैं। योग से आप आँखों की मांसपेशियों से जुड़े कई प्रकार के रोगों को दूर कर सकते हैं।
हम आपको नेत्र ज्याति बढ़ाने के लिए कुछ एक्सरसाइज बता रहे हैं जिनके नित्य अभ्यास से आप आँखों की समस्याओं से निजात पा सकते हैं। आँखों के लिए एक्सरसाइज शुरू करने से पहले आप इन्हें ठंडे पानी से अच्छे से साफ कर लें।
आंखों की एक्सरसाइज कैसे करें?
आँखों के रोशनी बढ़ाने के लिए कई प्रकार के योग और एक्सरसाइज है। यहां नीचे हम कुछ व्यायाम बता रहे हैं जिन्हें कर आप अपनी आँखों की कई समस्याओं से निजात पा सकते हैं।
- ताली बजाना
- पलकें झपकाना
- दोनों आँखों को बारी बारी से एक किनारे से दूसरे किनारे पर केन्द्रित करना
- दोनों आँखों को बारी बारी से पहले आगे फिर किनारे की तरफ केन्द्रित करना
- आँखों को घुमाते हुए देखना
- दोनों आँखों को बारी बारी से ऊपर और नीचे की तरफ केन्द्रित करना
- नासिका के अग्र भाग को ध्यानपूर्वक देखना
- बारी-बारी से पास एवं दूर देखना
हथेलियों को आपस में रगड़ना या रब करना आँखों के लिए सबसे अच्छा एक्सरसाइज है, जिसके निरंतर अभ्यास से आपकी आँखों की रोशनी काफी हद तक बढ़ सकती है।
- अपनी आँखें बंद कर शांति से बैठ जाएं और ‘गहरी’ सांस लेकर खुद को तनावमुक्त करें।
- अपनी हथेलियों को तेजी से आपस में रगड़े, जिससे वे गर्म हो जाएं और फिर उन्हें अपनी पलकों के ऊपर रख दें।
- गर्म हथेलियों से आपकी मांसपेशियों को जो आराम मिल रहा है उसे महसूस करें।
- जब तक हथेलियों की गर्माहट कम ना हो जाए तब तक हथेलियों का आँखों पर लगाए रखें।
- अब फिर से इस क्रम को कम से कम तीन बार दोहराएं।
आँखों में नमी बनाए रखने के लिए आँखों का झपकाते रहना जरूरी है। पलकों को झपकाना आँखों के लिए अच्छी एक्सरसाइज है।
- अपनी आँखों को खोले रखें और थोड़ी देर के लिए आराम से बैठ जाएं।
- कुछ देर बाद अपनी आँखों को तेजी से 10-15 बार झपकाएं।
- 20 सेकेंड्स तक अपनी आँखे बंद कर आराम करें। धीरे से अपना ध्यान सांसो पर ले जाएँ।
- 5 बार यह व्यायाम दोहराएँ।
आँखों से अगल-बगल में देखने से भेंगेपन, आँखों के टेढ़ेपन जैसी कई समस्याओं से राहत मिलती है। नीचे दिये गये निर्देशानुसार दिन में 2-3 बार इस एक्सरसाइज को जरूर करें। इसके लिए अपने पैरों को शरीर की सीध में रखते हुए बैढ जाएं। मुट्ठी बंद और अंगूठा ऊपर रखते हुए अपने हाथों को उठाएं। अपनी आँखों के बराबर स्थित बिंदु पर ध्यान केंद्रित करें। अपने सिर को स्थिर रखें और इस प्रकार आँखों की एक्सरसाइज करें।
- भौंहों के बीच में रिक्त स्थान पर
- बाएं अंगूठे की ओर
- पुनः भौंहों के बीच में रिक्त स्थान पर
- दायें अंगूठे की ओर
- पुनः भौंहों के बीच में रिक्त स्थान पर
- बाएं अंगूठे की ओर
- इस व्यायाम को 10 से 20 बार दोहराएँ।
इस व्यायाम को समाप्त करने के पश्चात अपनी ऑंखें बंद कर लें और विश्राम करें।
ऊपर बताई गई आँखों की एक्सरसाइज को करते समय सांसों की लय पर भी ध्यान दें।
- आराम की अवस्था में बैठकर सांसों को अन्दर लें।
- किनारे की ओर देखते हुए सांसों को छोड़ें।
- सांसों को अन्दर की ओर खींचते हुए पुनः मध्य अवस्था में आ जाएँ।
सामने देखना या फिर आँखों के किनारों की तरफ देखना भी आँखों की रोशनी बढ़ाने के लिए अच्छी एक्सरसाइज है। करीब 20 से 30 सैकेंड तक सामने और किनारे से देखने पर आँखों की मांसपेशियों को आराम मिलता है। अधिकतर योगा टीचर आँखों की रोशनी के लिए इस व्यायाम को करने की सलाह देते हैं। नीचे दिये गये निर्देशानुसार इस व्यायाम को करीब 3 बार करें।
- अपने पैरों को शरीर के सीध में रखते हुए बैठ जाएं।
- बाएं हाथ से मुट्ठी बांधें लेकिन अंगूठा ऊपर की तरफ निकला रहे और उसे बाएं घुटने पर रख लें।
- अपनी आँखों के बराबर ऊँचाई पर स्थित बिंदु को ध्यान से देखें।
- अपने सिर को इस स्थिति में स्थिर रखें।
- अपनी नेत्र ज्याति को बाएं अंगुठे पर केन्द्रित रखें और साँस को बाहर छोड़ें।
- अपनी आँखों की समानांतर ऊँचाई पर स्थित बिंदु पर ध्यान केन्द्रित करते हुए साँस लें।
- यही प्रक्रिया दाएँ अंगूठे के साथ दोहराएँ।
- अब अपनी ऑंखें बंद कर लें और विश्राम करें।
आँखों की एक्सरसाइज सबसे आसान है। इसमें आपको आँखों को अलग-अलग दिशा में गोल-गोल घुमाना है। इसे करने के लिए अपनी आँखों को क्लॉकवाइज और एंटी क्लॉकवाइज करीब 5-5 बार घुमाएं। इसे करने के तुरंत बाद आपकी आँखों की मांसपेशियों को आराम मिलेगा।
- अपने पैरों को शरीर के सीध में रखते हुए बैठ जाएं।
- दाएँ हाथ से मुट्ठी बांधें लेकिन अंगूठा ऊपर की ओर निकला रहे फिर उसे दाएँ घुटने पर रख लें। कोहनियाँ सीधी रखें।
- अपने सिर स्थिर रखें और अपनी दृष्टि अंगूठे पर केन्द्रित करें।
- कोहनियों को सीधा रखते हुए अपने अंगुठे से एक गोलाकृति बनाएं और अपनी दृष्टि को अंगूठे के साथ में घुमाएँ।
- इस व्यायाम को 5 बार घड़ी चलने की दिशा और 5 बार घड़ी की उल्टी दिशा में करें।
- इस व्यायाम को बाएं अंगूठे से दोहराएँ।
- अब अपनी ऑंखें बंद कर लें और विश्राम करें।
उपर बताई गई आँखों की एक्सरसाइज करते समय सांसों की निम्नलिखित लयबद्धता पर ध्यान दें-
- गोलाकार दृष्टि घुमाते हुए ऊपरी अर्धचन्द्राकार पूर्ण करते समय साँस लें।
- निचला अर्धचन्द्राकार पूर्ण करते समय साँस छोड़ें।
आँखों की मांसपेशियों को मजबूत बनाने और दूरदृष्टी को कुछ हद तक ठीक करने में यह एक्सरसाइज आपकी बहुत मदद करेगी। अपनी आँखों से 20 सैकेंड के लिए ऊपर और फिर 20 सैकेंड के लिए नीचे की ओर देखें।
- अपने पैरों को शरीर के सीध में रखते हुए बैठ जाएँ।
- दोनों हाथों की मुट्ठियों (जिनमे अंगूठे ऊपर की ओर निकले हों) को अपने घुटनों पर रखें।
- हाथ सीधे रखते हुए अपने दाएँ अंगूठे को धीरे-धीरे ऊपर उठाएं और इस गति पर अपनी नज़र को केन्द्रित रखें।
- जब अंगूठा अपनी अधिकतम ऊँचाई पर पहुँच जाए, तब धीरे-धीरे नीचे लाते हुए उसे अपनी प्रारंभिक अवस्था में ले आएं। इस पूरी प्रक्रिया में सिर को स्थिर रखते हुए अपनी नज़र को अंगूठे पर लगातार केन्द्रित रखें।
- यह प्रक्रिया बाएं अंगूठे के साथ दोहराएँ।
- यह आसन का दोनों अंगूठो से 5 बार अभ्यास करें।
- पूरे आसन के दौरान अपने सिर व रीढ़ की हड्डी को सीधा रखें।
- अब अपनी ऑंखें बंद कर लें और विश्राम करें।
उपरिलिखित व्यायाम करते समय सांसों की निम्नलिखित लयबद्धता पर ध्यान दें-
- आँखों को ऊपर उठाते हुए साँस लें।
- आँखों को नीचे लाते हुए साँस छोड़ें।
ऐसा हममें से कई लोग पहले ही कर चुके होंगें, लेकिन एक एक्सरसाइज के तौर पर शायद ही किसी ने यह काम किया हो। यह हमारी आँखों के लिए तो फायदेमंद है ही साथ ही इससे हमारी एकाग्रता भी बढ़ती है।
- पैरों को एक दूसरे के ऊपर रख कर बैठ जाएं।
- अपने दाएँ हाथ को नाक के सामने से सीधा ऊपर उठाएं।
- अपने दाएँ हाथ से मुट्ठी बांधे और अंगूठे को ऊपर की ओर रखें।
- दोनों आँखों की नज़र को अंगूठे के आगे वाले भाग पर केन्द्रित रखें।
- अब अपने हाथ को मोड़ें और धीरे-धीरे अंगूठे को नासिका के आगे वाले भाग पर ले आएं। इस पूरी प्रक्रिया के समय अपनी नज़र को अंगूठे के आगे वाले भाग पर केन्द्रित रखें।
- इस स्थिति में, जब आपका अंगूठा नाक के आगे वाले भाग पर तथा नज़र केन्द्रित है, कुछ समय के लिए बने रहें।
- धीरे-धीरे अपने हाथ को सीधा करें और नज़र को अंगूठे के आगे वाले भाग पर ही केन्द्रित रखें।
- यह आसन का एक पूर्ण चक्र है।
- इसी प्रकार 5 चक्रों को पूर्ण करें।
उपरिलिखित व्यायाम करते समय सांसों की निम्नलिखित लयबद्धता पर ध्यान दें-
- अंगूठे को नाक के आगे वाले भाग की ओर लाते हुए साँस लें।
- अंगूठे को नाक के आगे वाले भाग पर स्थिर रखने के समय साँस अन्दर ही रोक कर रखें।
- हाथ को सीधा करते हुए साँस को बाहर छोड़ें।
अगर हम ऐसा कई बार करते हैं तो हमारी फोकस करने की क्षमता बढ़ती है साथ ही आँखों के नज़र का दोष भी दूर होता है। ऊंचाई से हम दूर और पास देखने से अपनी आँखों की मांसपेशियों को भी मजबूत बना सकते हैं।
- एक खुली खिड़की के पास बैठ जाएँ या खड़े रहें, जहां से क्षितिज स्पष्ट रूप से दिखाई दे रहा हो। अपने हाथों को किनारे की ओर रखें।
- नाक के आगे वाले भाग पर 5 से 10 सेकंड्स तक अपनी नज़र केन्द्रित रखें।
- अब दूर क्षितिज पर कुछ देर तक दृष्टि केन्द्रित करें।
- यह प्रक्रिया 10 से 20 बार दोहराएँ।
- अब अपनी ऑंखें बंद कर लें और विश्राम करें।
उपरिलिखित व्यायाम करते समय सांसों की निम्नलिखित लयबद्धता पर ध्यान दें-
- पास देखते समय साँस अन्दर लें।
- दूर देखते समय साँस बाहर छोड़ें।
क्या आप सभी योगासनों के बारे में जानना चाहते है? योगासनों की सूची एवं जानकारी हेतु -
ऊपर बताए गये नेत्र ज्याति बढ़ाने के उपायों को करने के बाद कुछ समय के लिए शवासन में लेट जाएं और आराम करें। सामान्य सांस लें और किसी भी प्रकार की हलचल ना करें।
आँखों के लिए बताई गई इन एक्सरसाइज का हर रोज़ अभ्यास करें जिससे आँखों की कार्यप्रणाली सामान्य हो सकें।
योग के अभ्यास से शरीर और मन को कई लाभ मिलते हैं फिर भी ये किसी भी प्रकार के दवाओं का विकल्प नहीं है। योग के लिए श्री श्री योग के किसी प्रशिक्षित टीचर से ही प्रशिक्षण लिया जाना चाहिए। किसी भी स्वास्थ्य संबंधी समस्या के लिए योग आसनों का अभ्यास डॉक्टर या श्री श्री योगा टीचर की सलाह के बाद ही करें। अपने पास के आर्ट ऑफ़ लिविंग के केंद्र पर श्री श्री योग के कोर्स के बारे में पता करें और अधिक जानकारी या सुझाव के लिए हमें info@srisriyoga.in. पर लिखें।